देश के सभी बैंक अपने ग्राहकों से कई तरह के चार्ज वसूलती है। इन चार्जिस में मिनिमम बैलेंस मेंटेन चार्ज भी शामिल है। अगर आप यह सोच रहे हैं कि केवल प्राइवेट बैंक ही यह चार्ज लेती है तो आप गलत है। आपको बता दें कि वित्त मंत्रालय द्वारा जारी आंकड़ों के अनुसार पिछले 5 साल में सरकारी बैंकों ने चार्जिस के माध्यम से 8500 करोड़ रुपये कमाए हैं।
नई दिल्ली। बैंक अकाउंट (Bank Account) आज के समय में बहुत जरूरी हो गया है। बैंक अकाउंट को सही से मैनेज करने के लिए प्राइवेट बैंक के साथ सरकारी बैंक भी कई तरह के चार्ज वसूलती है। बैंकिंग चार्ज की बात आती है तो सबसे पहला ध्यान मिनिमम बैलेंस मेंटन चार्ज पर जाता है।
कई लोगों को यह लगता है कि मिनिमम बैलेंस मेंटेन चार्ज केवल प्राइवेट बैंक ही लेती है, लेकिन ऐसा नहीं है। सरकारी बैंक भी मिनिमम बैलें मेंटेन न करने पर चार्ज लगाती है। भारतीय स्टेट बैंक (SBI) भी पहले मिनिमम बैंलेंस मेंटन न करने पर चार्ज लगाती थी, लेकिन आलोचनाओं के बाद साल 2019-20 में बैंक ने मिनिमम बैलेंस मेंटेन (Minimum Balance Maintain Charge) नहीं रखने पर शुल्क वसूलना बंद कर दिया।